सायबर जालसाज बना सकते हैं बूस्टर डोज शिकार, सायबर सेल ने किया आगाह…

मुंबई, केंद्र सरकार के बूस्टर डोज मुफ्त देने के एलान के बाद सायबर जालसाज इसे नया हथियार बना सकते हैं। इससे पहले कोरोना संक्रमण से बचाव के टीके के नाम पर बड़ी संख्या में लोगों को ठगने के मामले सामने आए थे। इसी को ध्यान में रखकर महाराष्ट्र सायबर सेल ने लोगों को आगाह किया है। अधिकारियों को शक है कि बूस्टर डोज के रजिस्ट्रेशन के नाम पर सायबर जालसाज लोगों को अपना शिकार बना सकते हैं। दरअसल, सायबर जालसाज लोगों को फोन करके फ्री में बूस्टर लगाने के लिए रजिस्ट्रेशन करने के बहाने मोबाइल पर आए ओटीपी मांगकर खाते से माल उड़ा लेते हैं। पिछले वर्ष कोरोना वैक्सीन को लेकर सायबर जालसाजों ने बड़ी संख्या में लोगों को तबाह किया था, इसलिए साइबर सेल के अधिकारियों ने लोगों को इस तरह के हथकंडों से सावधान रहने की अपील की है।
महाराष्ट्र सायबर सेल के सूत्रों के मुताबिक ठग खुद को स्वास्थ्य विभाग का अधिकारी बताकर लोगों को फोन करके पूछते हैं कि क्या उन्होंने कोविड से बचाव के लिए दोनों टीके ले लिए हैं। ज्यादातर लोगों ने कोविड के टीके की दोनों खुराखें ले ली हैं इसलिए वे हामी भर देते हैं। इसके बाद लोगों से कहा जाता है कि कोरोना का बूस्टर डोज लगाने के लिए उन्हें रजिस्ट्रेशन कराना होगा। इसके लिए मोबाइल पर आनेवाला ओटीपी बताना होगा। साथ ही उनसे कहा जाता है कि उन्हें मोबाइल पर एक एसएमएस मिलेगा, जिसमें उन्हें बूस्टर डोज की तारीख और जगह भरनी होगी। लेकिन लिंक में एनी डेस्क, टीम व्यूअर जैसे ऐप भेज दिए जाते हैं। इसके बाद ओटीपी संबंधित व्यक्ति को देते ही बैंक खाते से पैसे कटने का संदेश आ जाता है और तब संबंधित व्यक्ति को अपनी गलती का एहसास होता है।
महाराष्ट्र सायबर के एसपी संजय शिंत्रे के मुताबिक फिलहाल ऐसी कोई शिकायत दर्ज नहीं की गई है, जिसमें बूस्टर डोज के नाम पर किसी से ठगी की गई हो लेकिन पुराने मामलों को देखते हुए लोगों को सावधानी बरतनी चाहिए। दरअसल, सायबर ठग केवाईसी अपडेट, बिजली का बिल काटने, बीमा पॉलिसी की रकम लेने, केबीसी में लॉटरी जीतने, बेहद कम कीमत पर सामान देने जैसे बहानों से लगातार लोगों को चूना लगा रहे हैं और रोजाना सैकड़ों लोग इस तरह से ठगी का शिकार हो रहे हैं।